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अंबेडकर पर टिप्पणी के विरोध में कांग्रेस ने निकाला सम्मान मार्च - गृह मंत्री शाह ने किया अंबेडकर का अपमान, राष्ट्रपति शाह को बर्खास्त करें
By Lokjeewan Daily - 24-12-2024

भीलवाड़ा लोकजीवन। केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह द्वारा संसद में भारत रत्न डॉ.भीमराव अंबेडकर पर टिप्पणी के विरोध में कांग्रेस ने आज अंबेडकर सम्मान मार्च निकाला। फिर राष्ट्रपति के नाम कलेक्टर को ज्ञापन देकर शाह को गृह मंत्री पद से बर्खास्त करने की मांग की। राजस्थान प्रदेश कांग्रेस कमेटी के निर्देशानुसार कांग्रेस जिलाध्यक्ष अक्षय त्रिपाठी के नेतृत्व में कार्यकर्ता आज सुबह रेलवे स्टेशन स्थित अंबेडकर सर्किल पर एकत्र हुए। यहां अंबेडकर की प्रतिमा पर माल्यार्पण किया। फिर त्रिपाठी व प्रदेश कांग्रेस कमेटी के उपाध्यक्ष पूर्व राजस्व मंत्री रामलाल जाट के नेतृत्व में अंबेडकर सम्मान पैदल मार्च शुरू हुआ। वे केंद्र सरकार, गृह मंत्री अमित शाह के खिलाफ नारेबाजी करते हुए चल रहे थे। कोर्ट चौराहा होते हुए पैदल मार्च कलेक्ट्रेट पहुंचा। यहां कांग्रेस ने जिला कलेक्टर नमित मेहता को राष्ट्रपति के नाम लिखित ज्ञापन सौंपा। प्रदर्शन में पूर्व कांग्रेस जिलाध्यक्ष कैलाश व्यास, नगर परिषद के पूर्व सभापति ओमप्रकाश नराणीवाल व मंजू पोखरना, नगर निगम में  नेता प्रतिपक्ष धर्मेंद्र पारीक, कैलाश सेन, अविचल व्यास, ईश्वर खोईवाल, जीपी खटीक, राजेंद्र जैन, राजेश चौधरी, रणदीप त्रिवेदी, चंद्रप्रकाश अमरवाल, योगेश सोनी सहित अनेक कार्यकर्ता शामिल थे।
अंबेडकरविरोधी भाजपा की नीति उजागर: त्रिपाठी
कांग्रेस जिलाध्यक्ष त्रिपाठी ने कहा कि गृह मंत्री अमित शाह ने सदन में भारत रत्न अंबेडकर का अपमान किया। राष्ट्रपति से मांग करते हैं कि वे शाह को गृह मंत्री पद से बर्खास्त करें। भाजपा की नीति को शाह ने संसद में उजागर कर दिया। इनके प्रति संविधान रचियता के प्रति कोई सम्मान नहीं है।
अमित शाह ने किया अंबेडकर का अपमान: जाट
पीसीसी उपाध्यक्ष व पूर्व मंत्री रामलाल जाट ने कहा कि सनातन धर्म में हर जाति व धर्म का सम्मान करना है। संविधान को बनाने वाले अंबेडकर का गृह मंत्री शाह ने जो अपमान किया। उनकी छवि को धूमिल करने का काम किया है। ये तो जनता को धन्यवाद जो मोदी सरकार को सीटें पूरी नहीं दी वरना ये संविधान को तोड़ मरोड़ कर खुद का संविधान करना चाह रहे हैं। भाजपा के नुमाइंदों को सोचना चाहिए कि ऐसे लोगों को पार्टी में नहीं रखें, ताकि संविधान बच सके।

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