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चातुर्मास प्रवचन में स्वामी अच्युतानंद ने बताए सफलता के सूत्र
By Lokjeewan Daily - 28-08-2025

भीलवाड़ा लोकजीवन श्री रामधाम रामायण मंदिर ट्रस्ट की ओर से हमीरगढ़ रोड स्थित रामधाम में आयोजित चातुर्मास प्रवचन के दौरान बुधवार को गणेश चतुर्थी का पावन पर्व श्रद्धा और उल्लास के साथ मनाया गया। इस मौके पर भगवान गणेश का विशेष पूजन और अभिषेक किया गया, जिसमें बड़ी संख्या में भक्तों ने भाग लिया। प्रवचन देते हुए स्वामी अच्युतानंद ने गणेश चतुर्थी पर्व के गूढ़ संदेशों पर प्रकाश डाला। उन्होंने कहा कि भगवान गणेश को केवल विघ्नहर्ता के रूप में ही नहीं, बल्कि बुद्धि के देवता के रूप में भी पूजा जाता है। उनका प्रत्येक अंग हमें जीवन की सफलता के लिए एक महत्वपूर्ण सूत्र देता है। स्वामी ने कहा कि गणेशजी के बड़े कान हमें ध्यानपूर्वक सुनने और छोटे नेत्र हमें एकाग्रता का संदेश देते हैं। उनका विशाल मस्तक ज्ञान और बुद्धिमत्ता का प्रतीक है। उन्होंने कहा कि गणेशजी का वाहन मूषक (चूहा) अहंकार और कामनाओं का प्रतीक है, जिसे वह अपने नियंत्रण में रखते हैं। इसका अर्थ है कि यदि हम अपने अहंकार पर काबू पा लें तो सभी बाधाएं स्वत: दूर हो जाती हैं। स्वामी ने कहा कि यह पर्व हमें सिखाता है कि जीवन की बाधाओं को बल से नहीं, बल्कि विवेक, ज्ञान और एकाग्रता से दूर किया जा सकता है। प्रवचन के बाद भगवान गणेश की महाआरती की गई और भक्तों में प्रसाद वितरण किया गया। ट्रस्ट के सचिव अभिषेक अग्रवाल एवं प्रवक्ता गोविंद प्रसाद सोडाणी ने बताया कि चातुर्मास प्रवचन नियमित सुबह 9 बजे से शुरू हो रहे हैं। बड़ी संख्या में श्रद्धालु प्रवचनों का लाभ ले रहे हैं। 31 अगस्त को राधा अष्टमी पर्व पर ट्रस्ट का साप्ताहिक रामायण पाठ नौगांवा सांवरिया सेठ मंदिर में होगा। इसके लिए शहर में विभिन्न स्थानों पर बसें लगाई जाएगी।

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