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प्रमुख बड़े सरकारी हॉस्पिटलों में इन दिनों स्टाफ की कमी से व्यवस्थाएं बिगड़ रही
By Lokjeewan Daily - 02-10-2024

जयपुर के प्रमुख बड़े सरकारी हॉस्पिटलों में इन दिनों स्टाफ की कमी से व्यवस्थाएं बिगड़ रही है। एसएमएस मेडिकल कॉलेज से अटैच हॉस्पिटल में तकनीकी स्टाफ की कमी के कारण आए दिन सैंपल गुम होने, जांच रिपोर्ट ठीक नहीं आने और मरीजों को जांच के लिए लम्बा इंतजार करने की शिकायतें आ रही है। वहीं इन हॉस्पिटल में अब उच्च लेवल पर बैठे अधिकारी भी नई भर्ती करने से डर रहे है। इसके पीछे कारण सिफारिशों का अंबार है।

एसएमएस हॉस्पिटल, जे.के. लोन, जनाना समेत अन्य हॉस्पिटल में नियमित स्टाफ की कमी को पूरा करने के लिए कॉन्ट्रेक्ट पर भर्ती होती है। लेकिन जे.के. लोन और जनाना हॉस्पिटल में इन दिनों कॉन्ट्रेक्ट पर भी पर्याप्त स्टाफ उपलब्ध नहीं हो पा रहा। ऐसा इसलिए कि क्योंकि इन भर्ती में राजनेताओं और ब्यूरोक्रेट्स की सिफारिश का जबरदस्त दबाव है। विधायक, मंत्री से लेकर हर स्तर के नेता और ब्यूरोक्रेट्स अपने चहेतों को नौकरी लगवाना चाहते है।

इस कारण जे.के. लोन और जनाना हॉस्पिटल दोनों में मिलाकर 25 से ज्यादा स्टाफ की भर्ती का मामला हॉस्पिटल के स्तर पर ही रूका पड़ा है। यहां के अधीक्षक और अन्य प्रशासन के अधिकारी निर्णय ही नहीं कर पा रहे है। इसका खामियाजा यहां मरीजों और स्टाफ को भुगतना पड़ रहा है। मरीजों की जांचे, रिपोर्ट समेत इलाज प्रभावित हो रहे है।

कर्मचारियों की कमी होने और इन दिनों मरीजों की संख्या ज्यादा बढ़ने का असर जांचों पर आ रहा है। जे.के. लोन में आए दिन मरीजों के ब्लड सैंपल गुम होने, रिपोर्ट देरी से आने की शिकायतें आ रही है। यहां हॉस्पिटल प्रशासन ने लैब टैक्नीशियन और दूसरे पैरा मेडिकल स्टाफ की जगह नर्सिंग स्टाफ को सैंपल कलेक्शन समेत अन्य ड्यूटी में लगा रखा है। बताया जा रहा है कि पूरे हॉस्पिटल में केवल एक ईसीजी लैब टैक्नीशियन है, जो ओपीडी, आईपीडी में सभी मरीजों की जांच कर रहा है। वहीं कई स्टाफ की तो लगातार डेढ़ से दो माह तक नाइट ड्यूटी लगाई जा रही है।

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